हिंदुस्तान

कोविड-19 : असम में 6 सक्रिय मामले, 2 स्वस्थ हुए

  • पश्चिम बंगाल में कोविड-19 के 54 नए मामले सामने आए, स्वास्थ्य विभाग अलर्ट
असम। सोमवार को जारी केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, पिछले 24 घंटों में बीमारी से दो और लोगों के ठीक होने के बाद असम में सक्रिय कोविड मामले की संख्या घटकर छह हो गई है।
आंकड़ों के अनुसार, असम में छह सक्रिय मामले हैं, जबकि रविवार से दो ठीक हो चुके हैं। इस साल जनवरी से असम में सात लोग कोविड-19 वायरस से ठीक हुए हैं। मंत्रालय ने कहा कि भारत में 6,133 सक्रिय कोविड-19 मामले हैं और छह और मौतें हुई हैं। आधिकारिक सूत्रों ने कहा है कि ज्यादातर मामले हल्के हैं और घरेलू देखभाल के तहत उनका प्रबंधन किया जाता है।
पश्चिम बंगाल में कोविड-19 के 54 नए मामले सामने आए, स्वास्थ्य विभाग अलर्ट
स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा सोमवार को जारी आंकड़ों के अनुसार पश्चिम बंगाल में कोविड-19 के 54 नए मामले सामने आए, जिसके बाद कुल सक्रिय कोरोना वायरस संक्रमितों की संख्या 747 हो गई। मंत्रालय ने बताया कि इस दौरान 53 मरीज ठीक भी हुए। मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार पिछले 24 घंटों में कोई नई मौत नहीं होने से मृतकों की संख्या एक बनी हुई है।
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प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में देश हर क्षेत्र में आगे बढ़ा : सुदर्शन पटनायक

  • सैंड आर्टिस्ट ने अपनी भावनाओं को कला के माध्यम से प्रदर्शित किया
पुरी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई में एनडीए सरकार ने 11 साल पूरे कर लिए हैं। तीसरे कार्यकाल का एक साल पूरा होने की खुशी प्रख्यात सैंड आर्टिस्ट सुदर्शन पटनायक ने भी जाहिर की। उन्होंने अपनी भावनाओं को कला के माध्यम से प्रदर्शित किया। उन्होंने पीएम मोदी के कार्यकाल को अद्भुत बताया और उनका आभार जताया।
सैंड आर्टिस्ट सुदर्शन पटनायक ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से कहा, “देश प्रधानमंत्री के नेतृत्व में बहुत आगे बढ़ा है। स्वच्छता अभियान से लेकर कलाकारों के लिए सम्मान तक, कई ऐसे क्षेत्र हैं जहां पहले ध्यान नहीं दिया गया था। पीएम मोदी मन की बात कार्यक्रम में कलाकारों का मनोबल बढ़ाते हैं।”
उन्‍होंने कहा कि पीएम मोदी हमारे देश की संस्‍कृति, सभ्‍यता और खेल को बढ़ावा देते हैं। गोवा में आयोजित ब्रिक्‍स सम्‍मेलन का उल्‍लेख करते हुए कहा कि पीएम मोदी ने मेरी कला को सभी देशों के प्रतिनिधियों के सामने प्रस्‍तुत कर मेरा मान बढ़ाया। इतना ही नहीं, देश के हर कलाकार, चाहे वह शहर का हो या गांव का, पीएम मोदी सबके मनोबल को बढ़ाते हैं।
उन्होंने आगे कहा कि एमएसएमई सेक्टर को भी बीते वर्षों में मजबूती मिली है और आत्मनिर्भर भारत जैसी योजनाओं ने छोटे व्यवसायों को एक नई दिशा दी है। सुदर्शन पटनायक ने कहा कि भारत अब 2047 तक विकसित देश बनने की दिशा में तेजी से बढ़ रहा है।
पटनायक ने देश की अंतरराष्ट्रीय छवि को लेकर भी अपनी बात रखी। उन्होंने कहा, “आज भारत के पासपोर्ट की इज्जत बढ़ी है, मेडल्स की संख्या बढ़ी है और दुनियाभर में भारत की छवि सशक्त राष्ट्र के रूप में बनी है। ऑपरेशन सिंदूर इसका उदाहरण है, जिसमें भारत ने दुनिया को दिखाया कि हम सिर्फ बात नहीं करते, जरूरत पड़ने पर कार्रवाई भी करते हैं।” उन्होंने यह भी कहा कि पिछले 11 सालों में पाकिस्तान को भी भारत ने सख्त जवाब दिया है, भारत अब आतंकवाद और बातचीत एक साथ नहीं करता है।
पद्मश्री सुदर्शन पटनायक की ये टिप्पणी उन लाखों कलाकारों और सामान्य नागरिकों की भावनाओं को दर्शाती है जो प्रधानमंत्री मोदी की नीतियों से प्रेरित महसूस करते हैं।

 

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पति की हत्या के लिए हत्यारे किराए पर लेने का आरोप, पत्नी गिरफ्तार

  • राजा रघुवंशी हत्या मामला, पत्नी सोनम ने किया सरेंडर
मेघालय। राजा रघुवंशी की पत्नी सोनम रघुवंशी को मेघालय में अपने हनीमून के दौरान अपने पति की हत्या की साजिश रचने के आरोप में उत्तर प्रदेश में गिरफ्तार किया गया है। मेघालय हनीमून त्रासदी मामले में एक बड़ी सफलता के रूप में, इंदौर के मूल निवासी राजा रघुवंशी की लापता पत्नी, जो मेघालय में एक घाटी में मृत पाई गई थी, का पता लगाया गया और उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में उसे गिरफ्तार कर लिया गया।
डीजीपी आई नोंग्रांग के अनुसार, राजा रघुवंशी की हत्या कथित तौर पर उनकी पत्नी सोनम रघुवंशी द्वारा मेघालय में हनीमून के दौरान किराए के लोगों द्वारा की गई थी। डीजीपी ने कहा कि सोनम ने उत्तर प्रदेश के गाजीपुर में पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया, जबकि तीन अन्य हमलावरों को रात भर की छापेमारी में गिरफ्तार किया गया। समाचार एजेंसी पीटीआई ने उनके हवाले से कहा, "एक व्यक्ति को यूपी से उठाया गया था, और अन्य दो आरोपियों को एसआईटी ने इंदौर से पकड़ा था।" उन्होंने कहा, "सोनम ने यूपी के नंदगंज पुलिस स्टेशन में आत्मसमर्पण कर दिया और बाद में उसे गिरफ्तार कर लिया गया।
" नोंगरांग ने कहा कि गिरफ्तार किए गए लोगों ने खुलासा किया है कि पत्नी ने रघुवंशी की हत्या के लिए उन्हें किराए पर लिया था। उन्होंने कहा, "अपराध में शामिल कुछ और लोगों को पकड़ने के लिए मध्य प्रदेश में अभियान जारी है।" पता चला है कि सोनम रघुवंशी ने कल देर रात अपने भाई गोविंद को फोन करके बताया कि वह यूपी में है। गाजीपुर में एक ढाबे से गिरफ्तारी के बाद उसे मेडिकल चेकअप के लिए अस्पताल लाया गया। उत्तर प्रदेश के अतिरिक्त महानिदेशक, कानून और व्यवस्था अमिताभ यशे ने एक बयान में कहा, "गाजीपुर पुलिस ने सड़क किनारे ढाबे से सोनम को बरामद किया।
" उन्होंने कहा, "मेघालय पुलिस रास्ते में है और पूछताछ के लिए सोनम को हिरासत में लेगी। सोनम की मेडिकल जांच चल रही है।" मेघालय के मुख्यमंत्री ने पुलिस को बधाई दी इस बीच, मुख्यमंत्री कॉनराड के संगमा ने मामले को सुलझाने के लिए पुलिस को बधाई दी। उन्होंने एक्स पर पोस्ट किया, "राजा हत्याकांड में 7 दिनों के भीतर #मेघालय पुलिस को बड़ी सफलता मिली है...मध्य प्रदेश के 3 हमलावरों को गिरफ्तार किया गया है, महिला ने आत्मसमर्पण कर दिया है और एक अन्य हमलावर को पकड़ने के लिए ऑपरेशन अभी भी जारी है...बहुत बढ़िया।" उन्होंने आरोप लगाया, "मेघालय पुलिस ने बीच में ही यह कहानी गढ़ ली है। मेरी बेटी निर्दोष है।" राजा रघुवंशी के भाई ने कहा कि सोनम ने आत्मसमर्पण नहीं किया है। खास बातचीत में मृतक राजा रघुवंशी के भाई विपिन रघुवंशी ने दावा किया कि उनकी भाभी सोनम ने अभी तक आत्मसमर्पण नहीं किया है।
हालांकि, विपिन ने पुष्टि की कि सोनम ने उनके परिवार से बात की थी और उन्होंने पुलिस से उसे सुरक्षित हिरासत में लेने के लिए कहा था। राजा के भाई ने यह भी कहा कि उन्हें मामले में गिरफ्तार किए गए अन्य लोगों के बारे में कोई जानकारी नहीं है और उन्हें इस बात का भी कोई अंदाजा नहीं है कि वह मेघालय से उत्तर प्रदेश कैसे पहुंची। उन्होंने कहा, "केवल सोनम ही बाकी विवरणों की पुष्टि कर सकती है, कि वह मेघालय से उत्तर प्रदेश कैसे पहुंची और इस मामले में मध्य प्रदेश से तीन और लोगों को कैसे गिरफ्तार किया गया।" मेघालय हनीमून त्रासदी मामला 7 जून को एक पर्यटक गाइड ने दावा किया था कि इंदौर के हनीमून जोड़े, राजा और उनकी पत्नी सोनम, मेघालय के सोहरा इलाके से लापता होने वाले दिन तीन पुरुषों के साथ थे।
एक अधिकारी ने पुष्टि की कि गाइड ने पुलिस को यह जानकारी दी थी। जबकि युगल 23 मई को लापता हो गया था, राजा का शव 2 जून को वेइसाडोंग फॉल्स के पास एक घाटी में मिला था। उसके शरीर से एक सोने की अंगूठी और एक गले की चेन गायब पाई गई, जिससे संदेह और बढ़ गया कि उसकी हत्या की गई थी। एक दिन बाद, पास में ही खून से सना एक चाकू मिला और दो दिन बाद, एक रेनकोट जो जोड़े द्वारा इस्तेमाल किए गए रेनकोट के समान था, मावक्मा गांव में पाया गया, जो सोहरारिम और उस घाटी के बीच में है जहाँ राजा का शव मिला था। जबकि सोनम की तलाश चल रही थी, होमस्टे में से एक के सीसीटीवी फुटेज में उसे एक समान रेनकोट पहने हुए दिखाया गया।नवविवाहित जोड़े का किराए का स्कूटर सोहरारिम में मिला, जो मावलखियात में पार्किंग स्थल से कई किलोमीटर दूर है, और उसमें चाबियाँ लगी हुई थीं। एक एसपी के नेतृत्व में एक विशेष जांच दल और चार डीएसपी की सहायता से मामले की जांच की जा रही है।
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यात्री बोले- सड़क से सफर में लगता था 12 घंटा, अब लग रहे महज 3 घंटे

  • कटरा-श्रीनगर वंदे भारत
श्रीनगर। कटरा-श्रीनगर वंदे भारत एक्सप्रेस से रवाना हुए सैलानियों ने अपनी यात्रा को बहुत ही शानदार और अद्भुत बताया। शनिवार को कटरा से चली ट्रेन में देश-विदेश से आए पर्यटक सवार हुए। शुक्रवार को ही पीएम मोदी ने एक्सप्रेस ट्रेन को हरी झंडी दिखाई थी। सैलानियों ने इस दौरान हाथ में तिरंगा झंडा लेकर भारत माता की जय के नारे लगाए। यात्रा करने वाले लोगों ने कहा पहले सड़क से 12 घंटे लग जाते थे, अब महज 2 से 3 घंटे में ही श्रीनगर पहुंच रहे हैं।
इशिका शर्मा ने समाचार एजेंसी आईएएनएस को बताया कि वंदे भारत ट्रेन में मेरा पहला सफर है, मैं बहुत उत्साहित हूं। सड़क से सफर करने के दौरान हम थक जाते थे, वंदे भारत से समय की बचत होगी और इस दौरान शरीर को भी आराम मिलेगा। इन सबके लिए प्रधानमंत्री मोदी को धन्यवाद देना चाहती हूं, जिन्होंने जम्मू-कश्मीर में इतना अच्छा विकास किया है।
वहीं, तरुण कुमार ने बताया कि कटरा से श्रीनगर पहली ट्रेन पहुंची है और मैं इसका हिस्सा बना हूं। पहले की सरकार ने जम्मू-कश्मीर का कोई विकास नहीं किया था। यह मोदी सरकार है, जो इस समय हम कटरा से श्रीनगर ट्रेन से सफर कर रहे हैं। पहले महीने में 20 दिन श्रीनगर बंद रहता था, यह मोदी सरकार ताकतवर है और दूरदर्शी है।
सफर करने वाली युवती ने बताया कि यह ट्रेन बहुत ही आरामदायक है। सड़क से यात्रा के दौरान बहुत समय लगता था और शरीर को आराम नहीं मिलता था, हम थके-थके रहते थे। वंदे भारत ट्रेन से महज 2 से 3 घंटे ही लगते हैं।
एक अन्य यात्री ने बताया कि यह कभी सोचा नहीं था कि मात्र तीन घंटे में हम कश्मीर पहुंच जाएंगे। यह सब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की दूरदर्शिता और प्रयासों के कारण संभव हो पाया है। आज हम तिरंगा लेकर यहां पहुंचे हैं, यह वो दृश्य है जिसकी किसी ने कभी कल्पना नहीं की थी। जहां कभी अशांति का माहौल हुआ करता था, आज वहां शांति और सुरक्षा का अनुभव हो रहा है। लोग सकुशल अपनी यात्रा पूरी कर रहे हैं और कश्मीर की खूबसूरती का आनंद ले रहे हैं।
एक अन्य यात्री ने कहा, हाल ही में पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बावजूद जिस तरह का ठोस और स्पष्ट संदेश पाकिस्तान को दिया गया है, वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की दृढ़ इच्छाशक्ति को दर्शाता है। आज वंदे भारत एक्सप्रेस कश्मीर पहुंची है, यह एक ऐतिहासिक क्षण है और इसका पूरा श्रेय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जाता है।
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बड़ा हादसा टला : हेलीकॉप्टर की आपात लैंडिंग, सभी यात्री सुरक्षित

रुद्रप्रयाग केदारनाथ यात्रा रूट पर एक और बड़ा हादसा टल गया जब एक हेलीकॉप्टर में तकनीकी खराबी के कारण सिरसी हेलीपैड से उड़ान भरते ही सड़क पर आपातकालीन लैंडिंग करनी पड़ी। यह हेलीकॉप्टर क्रिस्टल एविएशन प्राइवेट लिमिटेड कंपनी का था, जो यात्रियों को लेकर केदारनाथ की ओर रवाना हुआ था। गनीमत रही कि इस घटना में कोई हताहत नहीं हुआ और सभी यात्री एवं चालक दल पूरी तरह से सुरक्षित हैं।
प्रारंभिक जानकारी के अनुसार, हेलीकॉप्टर ने सिरसी हेलीपैड से केदारनाथ के लिए उड़ान भरी थी। उड़ान भरने के कुछ ही क्षण बाद पायलट को हेलीकॉप्टर में तकनीकी गड़बड़ी का आभास हुआ। सुरक्षा को प्राथमिकता देते हुए, पायलट ने नजदीकी सड़क पर आपातकालीन लैंडिंग का निर्णय लिया। हेलीपैड से थोड़ी ही दूरी पर मौजूद सड़क पर हेलीकॉप्टर को सावधानीपूर्वक लैंड कराया गया।
हेलीकॉप्टर के अचानक नीचे उतरने की जानकारी मिलते ही स्थानीय लोगों और तीर्थयात्रियों में हलचल मच गई। लेकिन जल्द ही राहत की सांस ली गई जब यह स्पष्ट हुआ कि कोई भी यात्री घायल नहीं हुआ है। हेलीकॉप्टर में कुल सात लोग सवार थे, जिनमें पायलट समेत छह यात्री थे। सभी को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया।
हादसे की सूचना मिलते ही जिला प्रशासन और हवाई सुरक्षा संबंधित अधिकारी मौके पर पहुंचे। हेलीपैड से तकनीकी विशेषज्ञों की टीम को बुलाया गया ताकि हेलीकॉप्टर की जांच की जा सके और यह पता लगाया जा सके कि तकनीकी खराबी की वजह क्या थी। फिलहाल हेलीकॉप्टर को उड़ान के लिए अनुपयुक्त घोषित कर दिया गया है और उसे सड़क मार्ग से हटाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।
हेलीकॉप्टर में सवार एक यात्री ने मीडिया को बताया, “हमने जैसे ही उड़ान भरी, हेलीकॉप्टर में कुछ अजीब आवाजें आने लगीं। पायलट ने बहुत ही धैर्य और समझदारी से हेलीकॉप्टर को नीचे उतार दिया। हम सभी बहुत डर गए थे, लेकिन भगवान का शुक्र है कि सब सुरक्षित हैं।”
क्रिस्टल एविएशन प्राइवेट लिमिटेड ने बयान जारी करते हुए बताया कि घटना में किसी को भी चोट नहीं आई है और पायलट ने तय मानकों के अनुसार आपातकालीन लैंडिंग की। कंपनी ने घटना की जांच शुरू कर दी है और DGCA (डायरेक्टोरेट जनरल ऑफ सिविल एविएशन) को भी सूचित कर दिया गया है।
यह पहली बार नहीं है जब केदारनाथ यात्रा के दौरान हेलीकॉप्टर सेवा में कोई तकनीकी गड़बड़ी सामने आई हो। बीते कुछ वर्षों में मौसम, तकनीकी खामी और कभी-कभी मानवीय चूक के चलते कई बार हेलीकॉप्टर उड़ानें बाधित हुई हैं या आपात स्थिति में लैंडिंग करानी पड़ी है। यही कारण है कि अब हेलीकॉप्टर सेवाओं की सुरक्षा व्यवस्था और तकनीकी निगरानी को लेकर सवाल उठने लगे हैं।
जिला प्रशासन ने तत्काल इस घटना की जांच के आदेश दे दिए हैं। जिलाधिकारी रुद्रप्रयाग ने कहा कि यात्रियों की सुरक्षा सर्वोपरि है और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो, इसके लिए सभी हेली सेवा कंपनियों को अलर्ट जारी किया जाएगा। उन्होंने बताया कि DGCA की रिपोर्ट के आधार पर अगली कार्रवाई तय की जाएगी।
हादसे के बाद कुछ समय के लिए यात्रा में रुकावट जरूर आई, लेकिन जल्द ही यात्रियों को अन्य हेलीकॉप्टर सेवाओं के माध्यम से गंतव्य तक भेजा गया। हालांकि, कुछ यात्रियों ने घटना के बाद हेलीकॉप्टर यात्रा से परहेज करने की इच्छा जताई और पैदल मार्ग से दर्शन के लिए रवाना हुए।
केदारनाथ यात्रा मार्ग पर हुआ यह हेलीकॉप्टर हादसा भले ही एक बड़ा संकट बन सकता था, लेकिन पायलट की तत्परता और सूझबूझ ने इसे टलने दिया। इस घटना ने एक बार फिर हेली सेवाओं की सुरक्षा मानकों पर सवाल खड़े कर दिए हैं और जरूरत है कि हर उड़ान से पहले सभी तकनीकी पहलुओं की गहनता से जांच की जाए।
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PDP प्रमुख महबूबा मुफ्ती, इल्तिजा मुफ्ती ने ईद-उल-अजहा के मौके पर श्रीनगर में नमाज अदा की

श्रीनगर। पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती और उनकी बेटी इल्तिजा मुफ्ती ने शनिवार को ईद-उल-अजहा के मौके पर श्रीनगर में नमाज अदा की। जामा मस्जिद के दरवाजों को "फिर से बंद" किए जाने की ओर इशारा करते हुए, पीडीपी नेता इल्तिजा मुफ्ती ने कहा, "मीरवाइज उमर फारूक को फिर से नजरबंद कर दिया गया है। मैं एनसी सरकार और एलजी से पूछना चाहती हूं कि जब आप दावा करते हैं कि सब कुछ सामान्य है, तो मीरवाइज को अभी भी नजरबंद क्यों रखा गया है। भारत के एकमात्र और सबसे बड़े मुस्लिम बहुल राज्य के रूप में, हम कश्मीरियों को पूजा करने का अधिकार है... बुनियादी ढांचे से ज्यादा, हमें जीवन की गरिमा और सुरक्षा की जरूरत है।" नमाज अदा करने के बाद पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने कहा कि उन्होंने फिलिस्तीन के लोगों के लिए भी दुआ की।
"हम प्रार्थना करते हैं कि फिलिस्तीन जल्द ही इजरायल द्वारा किए जा रहे अत्याचारों से मुक्त हो। दुर्भाग्य से, सरकार ने इस पवित्र दिन पर जामा मस्जिद में नमाज अदा करने की अनुमति देने से इनकार कर दिया है और मीरवाइज उमर फारूक को नजरबंद कर दिया गया है... मैं राज्य सरकार के खिलाफ भी विरोध करती हूं, जो सिर्फ सब कुछ देख रही है और कुछ नहीं कर रही है," जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा।
"दुर्भाग्य से, सरकार ने इस पवित्र दिन पर जामा मस्जिद में नमाज अदा करने की अनुमति देने से इनकार कर दिया है और मीरवाइज उमर फारूक को नजरबंद कर दिया गया है... मैं राज्य सरकार के खिलाफ भी विरोध करती हूं, जो सिर्फ सब कुछ देख रही है और कुछ नहीं कर रही है," उन्होंने कहा। इस बीच, जम्मू कश्मीर के सीएम उमर अब्दुल्ला ने देश भर के मुसलमानों को शुभकामनाएं दीं और त्योहार को शांति और भाईचारे को मजबूत करने का समय बताया।
मीडियाकर्मियों से बात करते हुए सीएम अब्दुल्ला ने कहा, "मुझे उम्मीद है कि यह ईद भारत और दुनिया के मुसलमानों के लिए बेहतर दिन लेकर आएगी। मुझे उम्मीद है कि यह शांति लाएगी और भाईचारे को मजबूत करेगी। जबकि हम ईद मना रहे हैं, दुर्भाग्य से, एक बार फिर, श्रीनगर की प्रतिष्ठित जामा मस्जिद में नमाज अदा करने की अनुमति नहीं दी गई। मुझे इन फैसलों का आधार नहीं पता, लेकिन हमें अपने लोगों पर भरोसा करना सीखना होगा। ये वही लोग हैं जो पहलगाम आतंकवादी हमले के खिलाफ विरोध करने के लिए बाहर आए थे...सरकार को ऐतिहासिक जामा मस्जिद में नमाज की अनुमति देने के बारे में सोचना चाहिए।" ईद अल-अधा, जिसे बलिदान के त्योहार के रूप में भी जाना जाता है, पैगंबर इब्राहिम द्वारा ईश्वर की आज्ञाकारिता में अपने बेटे की बलि देने की इच्छा को याद करता है। इस दिन प्रार्थना, दान-पुण्य और जानवरों की रस्मी बलि दी जाती है, जिसका मूल संदेश साझा करने और सहानुभूति का होता है। (एएनआई)
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भारतीय शेयर बाजार में मजबूती, RBIकी ब्याज दरों में कटौती बनी सोने पर सुहागा

मुंबई। बाजार के जानकारों ने शनिवार को कहा कि घरेलू बाजार ने सप्ताह की शुरुआत कंसोलिडेशन के साथ करने के बाद, टैरिफ वॉर और भू-राजनीतिक तनाव की चिंताओं के बीच मजबूत प्रदर्शन दिखाया।
बाजार लगातार तीसरे सप्ताह कंसोलिडेशन में रहा, लेकिन अनुकूल घरेलू संकेतों के कारण करीब एक प्रतिशत की तेजी के साथ बंद होने में सफल रहा। सप्ताह के अधिकांश समय सीमित दायरे में रहने के बाद, शुक्रवार को बेंचमार्क सूचकांकों में तेजी से उछाल आया और वे सप्ताह के उच्चतम स्तर के करीब पहुंच गए।
सप्ताह के आखिरी कारोबारी दिन सेंसेक्स 746.95 अंक या 0.92 प्रतिशत की तेजी के साथ 82,188.99 और निफ्टी 252.15 अंक या 1.02 प्रतिशत की बढ़त के साथ 25,003.05 पर बंद हुआ। रेलिगेयर ब्रोकिंग लिमिटेड के एसवीपी-रिसर्च, अजीत मिश्रा ने कहा, "सप्ताह का मुख्य आकर्षण रिजर्व बैंक की नीति घोषणा थी, जिसने बाजार को आश्चर्यचकित कर दिया। केंद्रीय बैंक ने उम्मीद से कहीं ज्यादा रेपो रेट में 50 बीपीएस की कटौती और सीआरआर में 100 बीपीएस की कटौती की, जो एक मजबूत विकास समर्थक रुख का संकेत है। इसके अलावा, नीतिगत रुख को भी ‘अकोमोडेटिव’ से ‘न्यूट्रल’ में बदल दिया गया है।"
केंद्रीय बैंक ने अपने आसान उपायों को आगे बढ़ाकर वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच घरेलू विकास को पुनर्जीवित करने की अपनी प्रतिबद्धता को रेखांकित किया है। जबकि इस तरह के साहसिक दृष्टिकोण के धीरे-धीरे सामने आने की उम्मीद थी, यह निर्णायक कार्रवाई मुद्रास्फीति जोखिमों का प्रबंधन करते हुए आर्थिक सुधार का समर्थन करने के केंद्रीय बैंक के इरादे में विश्वास को मजबूत करती है।
इस सप्ताह, सेक्टोरल परफॉर्मेंस भी सकारात्मक रहा, जिसमें रेट-सेंसिटिव सेक्टर में मजबूत खरीदारी देखी गई। रियलिटी, ऑटो और बैंकिंग शेयरों ने रैली का नेतृत्व किया, जो क्रेडिट ग्रोथ कंज्यूमर सेंटीमेंट के लिए बेहतर दृष्टिकोण को दर्शाता है। फाइनेंशियल और एनबीएफसी को भी लाभ हुआ, क्योंकि ब्याज दरों में कमी से उधार लेने की स्थिति में सुधार की उम्मीद है। इसके विपरीत, अमेरिकी और यूरोपीय बाजारों में वैश्विक अनिश्चितताओं के लगातार बने रहने के कारण आईटी स्टॉक्स का प्रदर्शन बेहतर नहीं रहा।
ब्रॉडर मार्केट में मिडकैप और स्मॉलकैप दोनों इंडेक्स ने बेंचमार्क से बेहतर प्रदर्शन किया, जो निवेशकों के बीच रिस्क-ऑन सेंटिमेंट को दर्शाता है। जियोजित इन्वेस्टमेंट्स लिमिटेड के शोध प्रमुख विनोद नायर के अनुसार, चौथी तिमाही की मजबूत जीडीपी, जीएसटी कलेक्शन और अनुकूल मानसून जैसे सहायक मैक्रो संकेतकों से बल मिला, निवेशकों ने घरेलू रूप से उन्मुख और इंटरेस्ट-सेंसिटिव सेक्टर जैसे फाइनेंशियल, रियल एस्टेट, रिटेल और एफएमसीजी पर ध्यान केंद्रित किया। इन सेक्टर में मजबूत संस्थागत प्रवाह की वजह से बढ़त दर्ज की गई।
वर्तमान वैश्विक अनिश्चितता के कारण सप्ताह के दौरान मुनाफावसूली दिखाई दी। बेहतर आय और मूल्यांकन के कारण मिड और स्मॉल कैप ने आम तौर पर लार्ज कैप से बेहतर प्रदर्शन किया।
नायर ने कहा, "दुर्लभ धातुओं के निर्यात पर चीन के प्रतिबंध दीर्घकालिक जोखिम पैदा करते हैं और निवेशक अमेरिका में मुद्रास्फीति के आंकड़ों का इंतजार कर रहे हैं। मुद्रास्फीति में कमी और स्थिर जीडीपी परिदृश्य के समर्थन से आरबीआई द्वारा दरों में की गई कटौती से वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच निवेशकों का भरोसा बढ़ने की संभावना है।"
बाजार प्रतिभागी आगे के संकेतों के लिए प्रमुख मैक्रोइकॉनिक डेटा पर ध्यान केंद्रित करेंगे। विशेषज्ञों ने कहा कि मांग के रुझान और केंद्रीय बैंक के अगले कदमों का अनुमान लगाने के लिए सीपीआई मुद्रास्फीति जैसे उच्च आवृत्ति संकेतकों पर बारीकी से नजर रखी जाएगी।
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भगदड़ मामला : राज्य क्रिकेट संघ के दो वरिष्ठ अधिकारियों ने सौंपा इस्तीफा

नई दिल्ली। रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (आरसीबी) ने तीन जून को अपना पहला आईपीएल खिताब जीता। इसके अगले दिन बेंगलुरु में आरसीबी 'जश्न समारोह' के दौरान एम चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर भगदड़ मची, जिसमें 11 लोगों की मौत हो गई और कई घायल भी हुए।
कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ (केएससीए) के दो वरिष्ठ अधिकारियों ने 'नैतिक जिम्मेदारी' का हवाला देते हुए अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। इन अधिकारियों में सचिव ए शंकर और कोषाध्यक्ष ईएस जयराम का नाम शामिल है, जिन्होंने अपना इस्तीफा केएससीए अध्यक्ष रघुराम भट को सौंपा है।
शुक्रवार को केएससीए को भेजे गए पत्र में शंकर और जयराम ने लिखा, "पिछले दो दिनों में हुई अप्रत्याशित और दुर्भाग्यपूर्ण घटनाओं में हमारी भूमिका बहुत सीमित थी। लेकिन नैतिक जिम्मेदारी के चलते हम यह बताना चाहते हैं कि कल रात हमने केएससीए के सचिव और कोषाध्यक्ष के रूप में अपने-अपने पदों से इस्तीफा दे दिया है।"
बेंगलुरु हादसे पर स्थानीय पुलिस ने एफआईआर दर्ज की है। बेंगलुरु शहर के सेंट्रल डिवीजन में कब्बन पार्क पुलिस ने आरसीबी मैनेजमेंट को पहला, जबकि डीएनए इवेंट मैनेजमेंट कंपनी को दूसरा आरोपी बनाया है। इनके अलावा केएससीए की मैनेजमेंट कंपनी को तीसरा आरोपी बनाया गया है।
ये एफआईआर धारा 105 (गैर इरादतन हत्या), 115 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाना) और 118 (खतरनाक हथियारों या साधनों का उपयोग करके स्वेच्छा से चोट पहुंचाना या गंभीर चोट पहुंचाना) के तहत दर्ज की गई है। शुक्रवार को स्थानीय पुलिस ने आरसीबी के मार्केटिंग और रेवेन्यू हेड निखिल सोसले की गिरफ्तारी की पुष्टि की थी। इस हादसे के बाद आरसीबी ने प्रत्येक मृतक के लिए 10 लाख रुपये के मुआवजे की घोषणा की है। इसके अलावा घायलों के इलाज का खर्चा उठाने का वादा भी किया है।
इस हादसे के बाद भीड़ भाड़ में मची भगदड़ और उसके बाद होने वाली दुर्घटनाओं में जवाबदेही तय करने की आवश्यकता जैसे सवाल फिर से उभरकर आए हैं। आरसीबी आईपीएल की उन टीमों में एक है जिसके पास अपना लॉयल फैन बेस है। आरसीबी आईपीएल में 2008 से हिस्सा है और इसने पहली बार यह टूर्नामेंट 2025 में जीता है। इसके बाद फैंस में अपनी टीम की जीत के प्रति उत्साह चरम पर था।
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कटरा और श्रीनगर के बीच वंदे भारत ट्रेन आज से शुरू

  • यात्रा का समय घटकर मात्र 3 घंटे
नई दिल्ली। जम्मू एवं कश्मीर में कनेक्टिविटी को बढ़ावा देते हुए श्रीनगर और श्री माता वैष्णो देवी कटरा के बीच वंदे भारत एक्सप्रेस की नियमित सेवाएं शनिवार से शुरू हो गई। उत्तर रेलवे ने पुष्टि की है कि सेमी हाई-स्पीड रेलगाड़ियां सप्ताह में छह दिन चलेंगी, जिससे कश्मीर घाटी और प्रमुख तीर्थस्थल कटरा के बीच यात्रा का समय काफी कम हो जाएगा।
यह विकास क्षेत्र के परिवहन बुनियादी ढांचे में एक परिवर्तनकारी कदम है। नई वंदे भारत सेवा से श्रीनगर और कटरा के बीच यात्रा का समय घटकर मात्र तीन घंटे रह जाएगा, जो सड़क मार्ग से लगने वाले वर्तमान छह से सात घंटों के आधे से भी कम है। वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों की दो जोड़ी ट्रेन संख्या 26404/26403 और 26401/26402, नव-उद्घाटित श्रीनगर-कटरा-श्रीनगर मार्ग पर चलेंगी, जिनका बनिहाल में निर्धारित ठहराव होगा।
इन ट्रेनों को विशेष रूप से अत्यधिक ठंड या बर्फबारी जैसी परिस्थितियों को ध्यान में रखकर डिजाइन किया गया है। ये उन्नत हीटिंग सिस्टम, थर्मली इंसुलेटेड शौचालय, गर्म विंडशील्ड और चालक की दृश्यता के लिए डीफ्रॉस्टिंग तकनीक से सुसज्जित हैं। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को 272 किलोमीटर लंबी उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेल संपर्क परियोजना के सफल समापन के बाद इन ट्रेनों के उद्घाटन समारोह को हरी झंडी दिखाई। यह एक बहुप्रतीक्षित इंजीनियरिंग उपलब्धि है, जिसमें दुनिया का सबसे ऊंचा रेलवे आर्च ब्रिज और प्रतिष्ठित चिनाब पुल शामिल है।
अब तक इस क्षेत्र में रेल सेवाएं कश्मीर घाटी में बनिहाल-बारामुल्ला और जम्मू क्षेत्र में जम्मू-उधमपुर-कटरा तक ही सीमित थीं। वंदे भारत सेवाओं के विस्तार से न केवल निवासियों और पर्यटकों के लिए परिवहन का एक तेज, अधिक विश्वसनीय साधन उपलब्ध होगा, बल्कि इससे वैष्णो देवी मंदिर जाने वाले तीर्थयात्रियों के लिए भी आसान पहुंच की उम्मीद है।
सभी मौसमों में निर्बाध परिचालन और प्रीमियम ऑन-बोर्ड सुविधाओं के साथ वंदे भारत एक्सप्रेस यात्रा अनुभव और क्षेत्रीय संपर्क को बढ़ाने का वादा करती है तथा उत्तर भारत को घाटी के साथ और अधिक निकटता से जोड़ती है।
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ईद-उल-अजहा आज, देशभर की मस्जिदों में अदा की जा रही नमाज

  • चप्पे-चप्पे पर पुलिस तैनात
नई दिल्ली। देशभर में ईद-उल-अजहा (बकरीद) का त्योहार भाईचारे के साथ मनाया जा रहा है। मस्जिदों और ईदगाहों में नमाज का सिलसिला सुबह से ही शुरू हो गया, जहां लाखों लोग एकजुट होकर मुल्क की सलामती और अमन-चैन की दुआएं मांग रहे हैं। उत्तर प्रदेश से लेकर कर्नाटक, बिहार से दिल्ली तक, हर जगह लोग एक-दूसरे को गले लगाकर मुबारकबाद दे रहे हैं।
राजधानी दिल्ली में भी बकरीद पर मस्जिदों में नमाज शांतिपूर्ण ढंग से अदा की जा रही है। डीसीपी विचित्र वीर ने बताया, "कई दिनों से थाना और सब-डिवीजन स्तर पर तैयारियां की गई थीं। मस्जिद कमेटियों और अमन कमेटियों से संपर्क कर लोगों को शांतिपूर्ण नमाज और कुर्बानी के लिए जागरूक किया गया। पश्चिमी जिले में 29 मस्जिदें हैं, जिनमें कुछ बड़ी मस्जिदों में हजारों लोग नमाज के लिए जुटे। सभी जगह विशेष सुरक्षा इंतजाम किए गए।" उन्होंने कहा कि कुर्बानी निर्धारित जगहों पर ही करने और दूसरों की धार्मिक भावनाओं का सम्मान करने की अपील की गई। चप्पे-चप्पे पर पुलिस तैनात रही और अब तक सभी कार्यक्रम शांति से चल रहे हैं। उत्तर प्रदेश के हरदोई जिले में ईद-उल-अजहा की नमाज कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच शुरू हुई। शहर की ईदगाह में सुबह से ही नमाजियों की भीड़ उमड़ पड़ी। जिला अधिकारी (डीएम) और पुलिस अधीक्षक (एसपी) सहित भारी पुलिस बल ईदगाह के बाहर मौजूद रहा, ताकि किसी भी तरह की अप्रिय घटना को रोका जा सके। प्रशासन ने शांति और व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुख्ता इंतजाम किए, जिसके चलते नमाज़ सुचारु रूप से संपन्न हुई। नमाजियों ने देश में अमन-चैन और भाईचारे की दुआ मांगी।
वहीं, अलीगढ़ में भी ईद-उल-अज़हा की नमाज शांतिपूर्ण ढंग से विभिन्न मस्जिदों और ईदगाहों में अदा की गई। शहर की प्रमुख शाहजमाल ईदगाह में शहर मुफ्ती मोहम्मद खालिद हमीद की अगुवाई में नमाज पढ़ी गई। पुलिस और प्रशासन ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए, जिसमें रैपिड एक्शन फोर्स (आरएएफ) की टीमें अलग-अलग जगहों पर तैनात रहीं। पुलिस अधीक्षक (नगर) मृगांक शेखर पाठक ने बताया कि शाहजमाल ईदगाह पर नमाज सकुशल संपन्न हुई।
उन्होंने कहा, "लगातार पीस कमेटी की बैठकों और समाज के प्रबुद्ध लोगों से संवाद के कारण सड़कों पर कहीं भी नमाज नहीं पढ़ी गई। सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए थे, जिससे त्योहार शांति से मनाया जा सके।"
वाराणसी में भी बकरीद का उत्साह चरम पर रहा। मस्जिदों और ईदगाहों में नमाज अदा की गई और लोग एक-दूसरे को मुबारकबाद देते नजर आए। नमाजी आलम ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत में कहा, "हमने मुल्क की सलामती और भाईचारे के लिए नमाज पढ़ी। आज का दिन खुशी का दिन है। हम चाहते हैं कि सभी लोग प्रेम और एकता के साथ रहें।"
ईद-उल-अज़हा पर खुर्जा की ईदगाह में भी सैकड़ों की संख्या में नमाजी एकत्र हुए और नमाज अदा की। इस दौरान अतिरिक्त जिला अधिकारी (एडीएम), पुलिस अधीक्षक (देहात), उपजिलाधिकारी (एसडीएम) और क्षेत्राधिकारी (सीओ) सहित भारी पुलिस बल तैनात रहा। बुलंदशहर पुलिस अलर्ट मोड में है और हर गतिविधियों की ड्रोन से निगरानी कर रही है। प्रशासन ने लोगों से शांति और आपसी सौहार्द के साथ त्योहार मनाने की अपील की। नमाज के बाद लोगों ने एक-दूसरे को गले लगाकर बकरीद की मुबारकबाद दी और अमन की दुआ मांगी।
बिहार की राजधानी पटना के गांधी मैदान में भी आज मुस्लिम समुदाय ने बकरीद की नमाज अदा की। नमाजियों ने देश में अमन, शांति और समृद्धि की दुआ मांगी। पटना स्थित मदरसा इस्लामिया के प्रिंसिपल एम. ए. कादरी नदवी ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत में कहा, "ईद-उल-अज़हा का मतलब है अल्लाह के सामने समर्पण। कुर्बानी के जरिए हम बुराई को खत्म करने और अच्छाई का संकल्प लेते हैं। यह अल्लाह और बंदे के बीच एक वादा है। नमाज़ के दौरान बुराई से दूर रहने और भाईचारे को बढ़ावा देने की दुआ की गई। पुलिस ने सभी संवेदनशील स्थानों को चिह्नित कर सुरक्षा बल तैनात किए। सीसीटीवी कैमरों से भी निगरानी की गई, ताकि हर गतिविधि पर नजर रखी जा सके।"
वहीं, बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता और पूर्व केंद्रीय मंत्री सैयद शाहनवाज हुसैन ने बिहार के सुपौल में अपने पैतृक स्थान पर ईदगाह में सुबह करीब 7:30 बजे ईद-उल-अजहा की नमाज अदा की। नमाज के बाद उन्होंने लोगों से गले मिलकर बकरीद की मुबारकबाद दी।
कर्नाटक में भी बकरीद का त्योहार जोश और उत्साह के साथ मनाया जा रहा है। मस्जिदों और ईदगाहों में नमाज अदा की गई, और लोग एक-दूसरे को गले लगाकर बधाई दे रहे हैं। नमाजियों में खुशी की लहर साफ दिखाई दी। प्रशासन ने शांति बनाए रखने के लिए सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए और त्योहार शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हुआ।
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महिला स्काई डाइवर अनामिका शर्मा ने भारतीय सेना को दी अनोखे अंदाज में "सलामी"

  • बैंकॉक में आसमान से 12,000 फीट की ऊंचाई से लगाई छलांग
प्रयागराज। प्रयागराज की रहने वाली और देश की सबसे कम उम्र की महिला स्काई डाइवर अनामिका शर्मा ने भारतीय सेना को अनोखे अंदाज में सलामी दी है. उन्होंने थाईलैंड के बैंकॉक में आसमान से 12,000 फीट की ऊंचाई से छलांग लगाई- वो भी ‘ऑपरेशन सिंदूर’ का लाल ध्वज लेकर.
अनामिका की यह साहसिक छलांग भारतीय समय के अनुसार गुरुवार सुबह 11 बजे लगाई गई. इस ऐतिहासिक स्काई डाइव का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें अनामिका लाल ध्वज को गर्व से लहराते हुए आसमान में डाइव करती नज़र आती हैं.
अनामिका शर्मा भारत की पहली महिला स्काई डाइविंग प्रशिक्षक बनने की दिशा में अग्रसर हैं. मात्र 10 वर्ष की उम्र में पहली स्काई डाइव करने वाली अनामिका अब तक 300 से अधिक स्काई डाइव कर चुकी हैं. उनका यह जुनून और हुनर उन्हें विरासत में मिला है. उनके पिता अजय शर्मा, भारतीय वायुसेना से सेवानिवृत्त जूनियर वारंट ऑफिसर हैं. वे एक प्रशिक्षित कमांडो और प्रोफेशनल स्काई डाइवर हैं. उन्होंने ही अनामिका को स्काई डाइविंग की ट्रेनिंग दी है.
यह पहली बार नहीं है जब अनामिका ने देश की भावना को विदेशी धरती पर सम्मानित किया हो. जनवरी 2024 में उन्होंने थाईलैंड में 13 हजार फीट की ऊंचाई से राम मंदिर का ध्वज लेकर स्काई डाइव की थी, जो पूरे देश में चर्चा का विषय बनी थी. गौरतलब है कि थाईलैंड में हनुमान जी को रक्षक माना जाता है.
अनामिका के इस नए कीर्तिमान से उनके परिवार में भी खुशी की लहर है. उनके पिता अजय शर्मा ने कहा कि बेटी ने देश का नाम रोशन किया है. हमें गर्व है कि वह सेना के शौर्य को आसमान तक ले गई. वहीं, मां प्रियंका ने भावुक होते हुए कहा कि अनामिका बचपन से ही निडर रही है. आज उसने पूरी दुनिया को दिखा दिया कि बेटियां क्या कुछ कर सकती हैं. फिलहाल अनामिका थाईलैंड में हैं. उनका यह कदम देशवासियों के दिलों में गौरव का भाव भर गया है.
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141 साल बाद कश्मीर देश के रेल नेटवर्क से जुड़ा

श्रीनगर। जम्मू और कश्मीर के महाराजा प्रताप सिंह द्वारा 1884 में देखा गया सपना शुक्रवार को साकार हो गया, जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रतिष्ठित चिनाब और अंजी खाद रेलवे पुलों का उद्घाटन किया, जिससे कश्मीर घाटी पहली बार भारत के राष्ट्रीय रेलवे ग्रिड में प्रभावी रूप से एकीकृत हो गई। यह मील का पत्थर एक सदी से अधिक की महत्वाकांक्षा की परिणति का प्रतीक है, जो इतिहास, भूगोल और संघर्ष द्वारा कई बार रुकी हुई थी। 1884 में, महाराजा प्रताप सिंह ने अपने प्रधान मंत्री दीवान अनंत राम को ब्रिटिश भारत सरकार को औपचारिक रूप से पत्र लिखने का निर्देश दिया, जिसमें जम्मू और कश्मीर रियासत के लिए रेल संपर्क का प्रस्ताव रखा गया। यद्यपि महाराजा ने 1890 के दशक में ब्रिटिश इंजीनियरों को बीहड़ हिमालयी भूभाग का सर्वेक्षण करने के लिए नियुक्त किया था, लेकिन राजनीतिक और वित्तीय बाधाओं और बाद में प्रथम विश्व युद्ध से लेकर भारत के स्वतंत्रता आंदोलन तक वैश्विक और राष्ट्रीय उथल-पुथल ने इन महत्वाकांक्षाओं को रोक दिया।
जम्मू-श्रीनगर रेल मार्ग का विचार 1983 में प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी के कार्यकाल में पुनर्जीवित हुआ, जब जम्मू-उधमपुर-श्रीनगर लाइन की आधारशिला रखी गई। तब तक जम्मू लुधियाना और पठानकोट के माध्यम से भारत के रेलमार्ग से फिर से जुड़ चुका था। हालांकि, परियोजना की प्रगति धीमी रही और 13 वर्षों में केवल 11 किलोमीटर रेलमार्ग का निर्माण किया गया, जबकि लागत 50 करोड़ रुपये से बढ़कर 300 करोड़ रुपये हो गई। 1990 के दशक के अंत में, प्रधान मंत्री एचडी देवेगौड़ा और आईके गुजराल के कार्यकाल में, उधमपुर-कटरा-बारामुल्ला रेलवे लाइन (यूएसबीआरएल) को 2,500 करोड़ रुपये की राष्ट्रीय प्राथमिकता के रूप में शुरू किया गया था। इस परियोजना को इसके रणनीतिक और विकासात्मक महत्व को रेखांकित करने के लिए 2002 में एक राष्ट्रीय परियोजना घोषित किया गया था। जम्मू उधमपुर लाइन 2005 में खोली गई। 2014 में, उधमपुर-कटरा खंड का उद्घाटन किया गया, जिससे वैष्णो देवी के मंदिर तक पहुंच में सुधार हुआ। इस बीच, घाटी खंड बारामुल्ला से काजीगुंड तक को एक स्वतंत्र नेटवर्क के रूप में विकसित किया गया और 2009 में पूरा किया गया।
हालांकि, असली चुनौती कटरा और बनिहाल के बीच चेनाब नदी के घाट और अंजी खाद घाटी के माध्यम से कठिन हिमालयी इलाके को पाटने में थी। यह खंड अंतिम सीमा बना रहा। अब, चेनाब ब्रिज और अंजी खाद ब्रिज के पूरा होने से यूएसबीआरएल में आखिरी बचा हुआ अंतर बंद हो गया है। नदी तल से 359 मीटर ऊपर बना चेनाब ब्रिज दुनिया का सबसे ऊंचा रेलवे आर्च ब्रिज है, जो एफिल टॉवर से 35 मीटर ऊंचा है। अंजी खाद ब्रिज भारत का पहला केबल-स्टेड रेलवे ब्रिज है। कुल मिलाकर, कश्मीर रेलवे कॉरिडोर में 38 सुरंगें और 927 पुल हैं, जो भारत के कुछ सबसे चुनौतीपूर्ण इलाकों से होकर गुजरे हैं। दूरदराज के, अक्सर उग्रवाद प्रभावित क्षेत्रों तक पहुँचने के लिए 215 किलोमीटर से अधिक पहुँच मार्ग बनाने पड़े।
आतंकवादी खतरों के बावजूद, खास तौर पर 2000 के दशक की शुरुआत में, सुरक्षा और दृढ़ संकल्प के साथ निर्माण जारी रहा। 2004 में, अनंतनाग के पास एक साइट पर आतंकवादी हमले में कई मज़दूर घायल हो गए। फिर भी, भारतीय इंजीनियरों और मज़दूरों ने काम जारी रखा। 2013 में बनकर तैयार हुई बनिहाल काजीगुंड सुरंग घाटी के कुछ सबसे संवेदनशील क्षेत्रों से होकर गुज़री। कटरा-श्रीनगर वंदे भारत एक्सप्रेस के हाल ही में उद्घाटन के साथ, कश्मीर घाटी अब औपचारिक रूप से देश के बाकी रेलवे नेटवर्क से जुड़ गई है - दक्षिण में कन्याकुमारी से लेकर उत्तर में बारामुल्ला तक। यह लंबे समय से प्रतीक्षित एकीकरण अक्सर उद्धृत वाक्यांश “कश्मीर से कन्याकुमारी” को प्रतीकात्मकता से स्टील की वास्तविकता में बदल देता है।
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जम्मू-कश्मीर को राज्य का दर्जा देंगे: कटरा में उमर अब्दुल्ला

रियासी। जम्मू और कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने शुक्रवार को केंद्र शासित प्रदेश को राज्य का दर्जा बहाल करने की मांग दोहराई, उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इसे पूरा करेंगे। सीएम अब्दुल्ला कटरा रेलवे स्टेशन से पीएम मोदी द्वारा वंदे भारत ट्रेनों को हरी झंडी दिखाने के कार्यक्रम में शामिल होने के लिए कटरा में थे। कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री के अलावा केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव, उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह भी मौजूद थे।
कार्यक्रम के दौरान जम्मू-कश्मीर के सीएम ने कहा, "यह मेरा सौभाग्य रहा है कि जब भी रेलवे के लिए बड़े कार्यक्रम हुए हैं, मैं उसमें शामिल रहा हूं। पहली बार अनंतनाग रेलवे स्टेशन का उद्घाटन हुआ, जब बनिहाल रेल सुरंग खोली गई। 2014 में मेरे पहले कार्यकाल के आखिरी कार्यक्रम को याद करें तो यहां भी कार्यक्रम हुआ था... आप पहली बार प्रधानमंत्री बने थे, चुनाव के ठीक बाद, आप यहां आए और कटरा रेलवे स्टेशन का उद्घाटन किया और आप कुल 3 बार चुनाव जीतकर पीएम बने रहे।"
केंद्र शासित प्रदेशों में "चीजें सामान्य होने" की उम्मीद करते हुए सीएम अब्दुल्ला ने कहा, "2014 में जब कटरा रेलवे स्टेशन का उद्घाटन हुआ था, तब वही चार लोग यहां मौजूद थे, मनोज सिन्हा, जो उस समय रेलवे के राज्य मंत्री थे, एलजी के पद पर पदोन्नत हो गए और मैं एक राज्य के सीएम से एक यूटी के सीएम बन गया। लेकिन हमें पता भी नहीं चलेगा कि चीजें सामान्य हो जाएंगी और पीएम नरेंद्र मोदी द्वारा जम्मू-कश्मीर को एक राज्य का दर्जा दिया जाएगा।" इस बीच, उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने इस बात पर प्रकाश डाला कि कैसे देश को 'कश्मीर से कन्याकुमारी' तक जोड़ने का नारा कटरा-श्रीनगर वंदे भारत ट्रेन को हरी झंडी दिखाने के साथ ही साकार हो रहा है।
"देश के दो कोनों को एक करके उन्होंने सरदार वल्लभभाई पटेल और डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी के सपनों को भी साकार किया है...उन्होंने इस रेलवे लाइन से जुड़े शहरों में लाखों भारतीयों के दिलों की धड़कन को भी जोड़ा है...आज उद्घाटन किया गया रेलवे पुल सिर्फ सीमेंट और लोहा नहीं है, बल्कि जम्मू-कश्मीर की आकांक्षाओं को जोड़ने का एक माध्यम है," राज्यपाल सिन्हा ने कहा। इससे पहले आज, पीएम मोदी ने कटरा रेलवे स्टेशन से दो वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों को हरी झंडी दिखाई, जो जम्मू संभाग को सीधे कश्मीर से जोड़ती हैं। ट्रेनों को हरी झंडी दिखाने से पहले, प्रधानमंत्री मोदी ने ट्रेन में सवार स्कूली बच्चों से बातचीत की और ट्रेन में मौजूद रेलवे कर्मचारियों से भी बात की।
नई वंदे भारत एक्सप्रेस सेवा कटरा और श्रीनगर के बीच यात्रा के समय को सड़क मार्ग से मौजूदा 6-7 घंटे से घटाकर लगभग 3 घंटे कर देगी। इन ट्रेनों का उद्देश्य निवासियों, पर्यटकों और तीर्थयात्रियों के लिए तेज़, आरामदायक और विश्वसनीय यात्रा विकल्प प्रदान करना है। यह ट्रेन अंजी खाद पुल से होकर गुजरेगी, जो भारत का पहला केबल-स्टेड रेलवे पुल है, और चेनाब पुल, जो दुनिया का सबसे ऊँचा रेलवे पुल है। इन पुलों का उद्घाटन भी प्रधानमंत्री ने किया। एक उल्लेखनीय इशारे में, प्रधान मंत्री मोदी ने तिरंगा, भारतीय राष्ट्रीय ध्वज लहराया और इसे चेनाब नदी पर पुल के डेक पर आगे बढ़ाया। ये पुल जम्मू और कश्मीर में महत्वाकांक्षी उधमपुर-श्रीनगर-बारामुल्ला रेलवे लिंक (USBRL) परियोजना का हिस्सा हैं। इस परियोजना को पहले क्षेत्र के कठिन भूभाग और भूकंपीय संवेदनशीलता के कारण कई इंजीनियरिंग और रसद चुनौतियों का सामना करना पड़ा था। फिर भी, वर्षों के सावधानीपूर्वक काम के बाद, पुल अब भारत की तकनीकी शक्ति और समावेशी विकास के प्रति प्रतिबद्धता का प्रमाण है।
उधमपुर-श्रीनगर-बारामुल्ला रेल लिंक (USBRL) परियोजना 272 किलोमीटर लंबी USBRL परियोजना है, जिसका निर्माण लगभग 43,780 करोड़ रुपये की लागत से किया गया है, जिसमें 36 सुरंगें (119 किलोमीटर तक फैली हुई) और 943 पुल शामिल हैं। यह परियोजना कश्मीर घाटी और देश के बाकी हिस्सों के बीच सभी मौसमों में निर्बाध रेल संपर्क स्थापित करती है, जिसका उद्देश्य क्षेत्रीय गतिशीलता को बदलना और सामाजिक-आर्थिक एकीकरण को बढ़ावा देना है। (एएनआई)
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PM मोदी ने कश्मीर में वंदे भारत एक्सप्रेस को किया रवाना

जम्मू। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर के कटरा शहर से श्रीनगर तक वंदे भारत ट्रेन सेवा को हरी झंडी दिखाई। इस दौरान सैकड़ों उत्साही लोगों ने उनका स्वागत किया।
प्रधानमंत्री ने वंदे भारत ट्रेन को हरी झंडी दिखाई और कटरा रेलवे स्टेशन पर ट्रेन में सवार बच्चों से बातचीत की।
सेवा का उद्घाटन करने के लिए हरी झंडी दिखाने से पहले प्रधानमंत्री मोदी ने वंदे भारत ट्रेन सेवा के बारे में बच्चों के विचार ध्यान से सुने।
जैसे ही ट्रेन कटरा रेलवे स्टेशन से आगे बढ़ी, हवा में ‘भारत माता की जय’ के नारे गूंजने लगे।
वंदे भारत ट्रेन में केंद्र शासित प्रदेश के मौसम की चरम स्थितियों के अनुकूल अत्याधुनिक सुविधाएं हैं।
इससे पहले दिन में प्रधानमंत्री मोदी ने चेनाब रेलवे ब्रिज का उद्घाटन किया, जिसके बाद उन्होंने पुल के निर्माण के दौरान आई तकनीकी कठिनाइयों को उजागर करने वाली फोटो प्रदर्शनी का दौरा किया।
प्रधानमंत्री मोदी ने इंजीनियरों और कुशल श्रमिकों से बातचीत की, जिन्होंने मौसम और भौगोलिक परिस्थितियों की सभी बाधाओं को पार करते हुए 359 मीटर ऊंचे विश्व के सबसे ऊंचे पुल का निर्माण पूरा किया। यह पुल पेरिस के एफिल टॉवर से 35 मीटर ऊंचा है। प्रधानमंत्री ने इंजीनियरों और श्रमिकों को रिकॉर्ड समय में पुल का निर्माण पूरा करने के लिए सभी बाधाओं को पार करने के लिए बधाई दी, जो इंजीनियरिंग उत्कृष्टता का एक चमत्कार है। प्रधानमंत्री के साथ फोटो प्रदर्शनी देखने के लिए उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव, प्रधानमंत्री कार्यालय में राज्य मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह और जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला भी मौजूद थे। प्रधानमंत्री मोदी ने पुल के निर्माण के दौरान आने वाली तकनीकी समस्याओं को समझने में गहरी दिलचस्पी दिखाई। रेलवे बोर्ड के सीईओ सतीश कुमार ने फोटो प्रदर्शनी के दौरान प्रधानमंत्री को जानकारी दी। प्रधानमंत्री द्वारा चेनाब पुल का उद्घाटन करने के दौरान सतीश कुमार भी उनके साथ थे। प्रधानमंत्री मोदी को बताया गया कि कटरा-श्रीनगर रेलवे ट्रैक का रखरखाव पूरी तरह से मशीनीकृत है, जो देश का पहला ऐसा रेलवे ट्रैक है। इससे यह ट्रैक देश में सबसे सुरक्षित बन गया है।
प्रधानमंत्री ने अंजी खाद केबल-स्टेड रेलवे ब्रिज का भी उद्घाटन किया, जो देश में अपनी तरह का पहला रेलवे ब्रिज है।
प्रधानमंत्री ने राष्ट्रीय ध्वज थामे हुए पुल को पार किया और रेलवे कोच में बैठकर भी पुल को पार किया। प्रधानमंत्री मोदी के साथ एलजी मनोज सिन्हा, रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव और सीएम उमर अब्दुल्ला भी थे।
जहां प्रधानमंत्री ने कटरा-श्रीनगर ट्रेन को हरी झंडी दिखाई, वहीं वे वर्चुअल मोड के जरिए श्रीनगर-कटरा ट्रेन को हरी झंडी दिखाएंगे।
प्रधानमंत्री 46,000 करोड़ रुपये की परियोजनाओं का शिलान्यास और उद्घाटन भी करेंगे।
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प्रधानमंत्री मोदी ने चेनाब पुल पर तिरंगा लहराया, पहलगाम की साजिश रचने वालों को करारा जवाब

  • इंजीनियरों और निर्माण श्रमिकों की पीठ थपथपाई
कटरा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को दुनिया के सबसे ऊंचे रेलवे पुल चेनाब ब्रिज का उद्घाटन किया और इस अभूतपूर्व परियोजना को संभव बनाने वाले इंजीनियरों और निर्माण श्रमिकों की पीठ थपथपाई। 22 अप्रैल को पहलगाम आतंकी हमले के बाद पहली बार जम्मू-कश्मीर दौरे पर प्रधानमंत्री मोदी 48,000 करोड़ रुपये से अधिक की कई परियोजनाओं का शुभारंभ करने वाले हैं। हालांकि, परियोजनाओं के शुभारंभ के बीच जिस पल ने सभी का ध्यान खींचा, वह था प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दुनिया के सबसे ऊंचे पुल पर राष्ट्रीय ध्वज लहराना।
इंजीनियरिंग के इस चमत्कार का उद्घाटन करने के तुरंत बाद, प्रधानमंत्री मोदी ने चेनाब नदी के ऊपर बने पुल पर सैर की और देशभक्ति की भावना से ओतप्रोत होकर गर्व से तिरंगा लहराया। प्रधानमंत्री मोदी का यह कदम पहलगाम हमले के षड्यंत्रकारियों को करारा जवाब देने के साथ-साथ पाकिस्तान के लिए भी कड़ा संदेश था। साथ ही घाटी में पर्यटन को पुनर्जीवित करने के लिए सरकार के दृढ़ संकल्प को भी इससे बल मिलेगा। पहलगाम में कायरतापूर्ण आतंकवादी हमले के बाद घाटी में पर्यटन को भी झटका लगा था।
चिनाब पुल दुनिया का सबसे ऊंचा रेलवे आर्च ब्रिज है, जो कश्मीर को देश के बाकी हिस्सों से जोड़ेगा और सभी मौसम में संपर्क सुनिश्चित करेगा। यह भूकंप और सर्दियों के दौरान सबसे न्यूनतम तापमान को भी झेल सकता है, जब पारा शून्य से नीचे चला जाता है।
चिनाब रेलवे पुल के उद्घाटन के बाद, पीएम मोदी ने एक फोटो प्रदर्शनी भी देखी, जिसमें पुल के निर्माण के दौरान आने वाली तकनीकी कठिनाइयों को प्रदर्शित किया गया था। उन्होंने इंजीनियरों और श्रमिकों के साथ भी बातचीत की, जिन्होंने मौसम और स्थानीय बाधाओं को पार करते हुए 359 मीटर ऊंचे दुनिया के सबसे ऊंचे पुल के काम को पूरा किया, जो पेरिस के एफिल टॉवर से 35 मीटर ऊंचा है। चिनाब ब्रिज को एक वास्तुशिल्प चमत्कार के रूप में सराहा जाता है, जो नदी से 359 मीटर ऊपर खड़ा है।
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9 जुलाई तक बढ़ी 26/11 के मास्टरमाइंड तहव्वुर राणा की न्यायिक हिरासत

नई दिल्ली। दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने 26/11 मुंबई आतंकी हमले के मास्टरमाइंड तहव्वुर राणा की न्यायिक हिरासत बढ़ा दी है। राणा की अगली कोर्ट पेशी 9 जुलाई को होनी है। इसका अर्थ है कि तहव्वुर राणा को अब 9 जुलाई तक न्यायिक हिरासत में रहना होगा।
शुक्रवार को सुरक्षा कारणों से उसे वर्चुअल मोड के जरिए कोर्ट में पेश किया गया। राणा के वकील ने उसके स्वास्थ्य को लेकर चिंता जताई। दलीलों पर गौर करते हुए कोर्ट ने तिहाड़ के अधिकारियों को 9 जून तक मामले पर स्टेटस रिपोर्ट पेश करने का निर्देश दिया है।
सुनवाई के दौरान राणा ने अपने परिवार से बातचीत करने की इच्छा जताई है। खबरों के अनुसार, मास्टरमाइंड तहव्वुर राणा ने परिवार से बातचीत के लिए कोर्ट में याचिका भी दायर की थी। राणा की इस अर्जी पर कोर्ट 9 जून को सुनवाई करेगा।
जब राणा को एनआईए ने हिरासत में लिया गया तब उसने परिवार से बात करने की इच्छा जताई थी। राणा के वकील की ओर से तर्क दिया गया था कि एक विदेशी नागरिक के तौर पर राणा का यह मौलिक अधिकार है कि वह अपने परिवार से बातचीत करे। राणा का परिवार उसकी भलाई को लेकर चिंतित है।
इससे पहले 24 अप्रैल को विशेष न्यायाधीश चंदर जीत सिंह ने राणा की अपने परिवार से बात करने की अनुमति मांगने वाली याचिका को खारिज कर दिया था। एनआईए द्वारा उसकी याचिका का विरोध करने के बाद अदालत ने यह फैसला सुनाया था। सुनवाई के दौरान, एनआईए ने तर्क दिया कि अगर राणा को अपने परिवार के सदस्यों से बात करने की अनुमति दी जाती है, तो वह बातचीत के दौरान कई महत्वपूर्ण जानकारियां साझा कर सकता है।
ज्ञात हो कि पाकिस्तानी सेना के मेडिकल कोर के पूर्व अधिकारी राणा को हाल ही में 26/11 मुंबई आतंकी हमले में मुकदमा चलाने के लिए अमेरिका से भारत प्रत्यर्पित किया गया था, जिसमें 26 नवंबर, 2008 को 166 लोग मारे गए थे और सैकड़ों घायल हुए थे। 9 मई को विशेष अदालत ने राणा को 6 जून तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया था। पटियाला कोर्ट में शुक्रवार को हुई सुनवाई के बाद राणा को 9 जुलाई तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।
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दिल्ली की मुख्यमंत्री ने नेतृत्व के 11 वर्ष पूरे करने पर प्रधानमंत्री मोदी की प्रशंसा की

नई दिल्ली। दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व के 11 वर्ष पूरे करने पर उनकी प्रशंसा की और इसे "समर्पण, सेवा और सुशासन" का काल बताया। उन्होंने जम्मू-कश्मीर में दुनिया के सबसे ऊंचे रेलवे पुल- चिनाब ब्रिज के उद्घाटन की भी सराहना की और इसे भारतीय इंजीनियरिंग की ऐतिहासिक उपलब्धि बताया।
एक्स पर एक पोस्ट में रेखा गुप्ता ने लिखा, "समर्पण, सेवा और सुशासन के 11 वर्ष! पिछले 11 वर्षों में माननीय @narendramodi जी के नेतृत्व में भारत ने विकास, विश्वास और वैश्विक गौरव की नई ऊंचाइयों को छुआ है।" उन्होंने प्रधानमंत्री की नवीनतम उपलब्धि, चिनाब ब्रिज के उद्घाटन के लिए भी अपनी प्रशंसा साझा की - जो भारत के बुनियादी ढांचे के विकास में एक प्रमुख मील का पत्थर है।
उन्होंने ट्वीट किया, "माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने आज जम्मू-कश्मीर की घाटियों में भारतीय इंजीनियरिंग का अनूठा चमत्कार, दुनिया के सबसे ऊंचे रेलवे पुल - चिनाब ब्रिज का उद्घाटन किया।" चिनाब ब्रिज को महज एक संरचना से कहीं अधिक बताते हुए उन्होंने इसे भारत की नई भावना का प्रतिबिंब बताया। गुप्ता ने कहा, "यह पुल महज एक संरचना नहीं है, यह नए भारत के आत्मविश्वास, दृढ़ संकल्प और गति का प्रतीक है।" अपने संदेश के अंत में मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री को हार्दिक बधाई देते हुए कहा, "इस ऐतिहासिक उपलब्धि के लिए प्रधानमंत्री को हार्दिक धन्यवाद और बधाई।"
इससे पहले दिन में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में दुनिया के सबसे ऊंचे रेलवे आर्च ब्रिज - 'चिनाब रेलवे ब्रिज' और भारत के पहले केबल-स्टेड 'अंजी ब्रिज' का उद्घाटन किया। उल्लेखनीय संकेत देते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने तिरंगा, भारतीय राष्ट्रीय ध्वज लहराया और उसे चिनाब नदी पर बने पुल के डेक पर आगे बढ़ाया। उद्घाटन के दौरान जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा, मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला और केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव मौजूद थे। चिनाब पर पुल के उद्घाटन से पहले प्रधानमंत्री ने रेलवे आर्च ब्रिज का निरीक्षण किया। ये पुल जम्मू-कश्मीर में उधमपुर-श्रीनगर-बारामुल्ला रेलवे लिंक (USBRL) परियोजना का हिस्सा हैं। प्रतिष्ठित चिनाब रेलवे ब्रिज, दुनिया का सबसे ऊंचा रेलवे आर्च ब्रिज, कटरा-से-सांगलदान खंड का हिस्सा है, जो नई दिल्ली को कटरा के रास्ते सीधे कश्मीर से जोड़ता है।
जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में स्थित चिनाब ब्रिज नदी के तल से 359 मीटर की ऊंचाई पर स्थित एक इंजीनियरिंग चमत्कार है। यह इतिहास में पहली बार आधिकारिक तौर पर कश्मीर घाटी को शेष भारत से रेल के माध्यम से जोड़ेगा। क्षेत्र के कठिन भूभाग और भूकंपीय संवेदनशीलता के कारण इस परियोजना को कई इंजीनियरिंग और रसद चुनौतियों का सामना करना पड़ा यह भारत के बुनियादी ढांचे के परिदृश्य में एक परिवर्तनकारी अध्याय है, जो क्षेत्र में अधिक कनेक्टिविटी, आर्थिक विकास और सामाजिक एकीकरण का वादा करता है।
इसके अलावा, प्रधान मंत्री मोदी ने श्री माता वैष्णो देवी कटरा से श्रीनगर और कुछ ही देर में वापस दो वंदे भारत ट्रेनों को भी हरी झंडी दिखाई। वे निवासियों, पर्यटकों और तीर्थयात्रियों के लिए एक तेज, आरामदायक और विश्वसनीय यात्रा विकल्प प्रदान करेंगे। प्रधानमंत्री उधमपुर-श्रीनगर-बारामुल्ला रेल लिंक (USBRL) परियोजना को भी राष्ट्र को समर्पित करेंगे। लगभग 43,780 करोड़ रुपये की लागत से निर्मित 272 किलोमीटर लंबी USBRL परियोजना में 36 सुरंगें (119 किमी तक फैली हुई) और 943 पुल शामिल हैं। यह परियोजना कश्मीर घाटी और देश के बाकी हिस्सों के बीच सभी मौसमों में निर्बाध रेल संपर्क स्थापित करती है, जिसका उद्देश्य क्षेत्रीय गतिशीलता को बदलना और सामाजिक-आर्थिक एकीकरण को बढ़ावा देना है। (एएनआई)
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CM योगी ने गोरखपुर के पार्षदों को निर्देश दिया कि सफाई पर विशेष ध्यान दें

गोरखपुर। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को आश्वासन दिया कि इस साल बरसात के मौसम में गोरखपुर को दो भागों में नहीं बांटा जाएगा, साथ ही उन्होंने कहा कि शहर के मोहल्लों में सफाई पर विशेष ध्यान दिया जाना चाहिए। गोरखपुर नगर निगम के नवनिर्मित वार्ड सूरजकुंड में कल्याण मंडपम के उद्घाटन के लिए आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए, सीएम ने जलवायु परिवर्तन के मुद्दे पर बात की, उन्होंने कहा कि सभी व्यक्तियों को एक पेड़ लगाने की जरूरत है, साथ ही उन्होंने कहा कि नदियों के पुनरुद्धार पर काम करने की तत्काल आवश्यकता है।
सीएम योगी ने कहा, "इस वर्ष बरसात के मौसम में गोरखपुर को दो भागों में नहीं बांटा जाएगा। पार्षद अपने-अपने मोहल्लों में साफ-सफाई पर विशेष ध्यान दें। जब जलवायु परिवर्तन होता है, तो इसका असर सिर्फ एक व्यक्ति पर नहीं, बल्कि पूरे समाज पर पड़ता है। इसलिए सभी को कम से कम एक पेड़ जरूर लगाना चाहिए। नदियां खत्म हो रही हैं और जल संकट से बचने के लिए हमें नदियों को पुनर्जीवित करने पर काम करना चाहिए। नदियों के दोनों किनारों पर पेड़ लगाए जाने चाहिए। पेड़ लगाना प्रकृति के प्रति हमारा कर्तव्य है।" उन्होंने आगे कहा कि जलवायु परिवर्तन पर अभियान के लिए 50 करोड़ पौधों की नर्सरी तैयार की गई है।
उन्होंने आगे कहा कि नगर निगम द्वारा ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए ठोस तैयारी की गई है, जिसका लाभ सभी को मिलेगा। उन्होंने कहा, "इस पूरे अभियान के लिए 500 मिलियन (50 करोड़) पौधों की नर्सरी तैयार की गई है। इनमें से 350 मिलियन (35 करोड़) पौधे लगाए जाएंगे। नगर निगम ने ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए ठोस तैयारी की है। इसका लाभ सभी को मिलेगा।" योगी ने यह भी कहा कि गोरखपुर में अब चार लेन की सड़कें हैं।
उन्होंने कहा कि आयुष विश्वविद्यालय की स्थापना की तैयारी चल रही है, जिसका उद्घाटन जल्द ही किया जाएगा। उन्होंने कहा, "गोरखपुर की सभी सड़कें चार लेन की हो गई हैं। बालापार, कुशीनगर, पिपराइच, देवरिया और महाराजगंज चार लेन की सड़कें बन गई हैं। शहर में आयुष विश्वविद्यालय की स्थापना की भी तैयारी चल रही है, जिसका उद्घाटन जल्द ही किया जाएगा... भोजन के लिए इंदिरा बाल विहार में फूड कोर्ट का भी निर्माण किया जा रहा है और बंधु सिंह पार्क में मल्टी लेवल पार्किंग का निर्माण किया जा रहा है।" (एएनआई)
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